काली माता जी की आरती

  • Updated: Oct 02 2023 06:14 PM
काली माता जी की आरती

काली माता जी की आरती

 

अम्बे तू है जगदम्बे काली, जय दुर्गे खप्पर वाली l

तेरे ही गुण गायें भारती, मैया हम सब उतारें तेरी आरती ll

 

तेरे भक्त जनों पे माता, भीर पड़ी है भारी l

दानव दल पर टूट पडो माँ, करके सिंह सवारी ll

सौ सौ सिंहों से बलशाली, दस भुजाओं वाली l

दुखिंयों के दुखडें निवारती, मैया हम सब उतारें तेरी आरती ll

 

माँ बेटे का है इस जग में, बड़ा ही निर्मल नाता l

पूत कपूत सूने हैं पर, माता ना सुनी कुमाता ll

सब पर करुणा दरसाने वाली, अमृत बरसाने वाली l

दुखियों के दुखड़े निवारती, मैया हम सब उतारें तेरी आरती ll

 

नहीं मांगते धन और दौलत, चाँदी सोना l

हम तो मांगे माँ तेरे मन में, इक छोटा सा कोना ll

सबकी बिगडी बनाने वाली, लाज बचाने वाली l

सतियों के सत को संवारती, मैया हम सब उतारें तेरी आरती ll

 

अम्बे तू है जगदम्बे काली, जय दुर्गे खप्पर वाली l

तेरे ही गुण गायें भारती, मैया हम सब उतारें तेरी आरती ll

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